RCB ने 18 साल के लंबे इंतजार के बाद IPL 2025 का खिताब जीत लिया। रोमांचक फाइनल में विराट कोहली की टीम ने पंजाब किंग्स को 6 रन से हराया। जानें पूरा स्कोर, विकेट और मैच की दिलचस्प बातें।
नरेंद्र मोदी स्टेडियम में खेला गया ऐतिहासिक फाइनल

आईपीएल 2025 का फाइनल मुकाबला गुजरात के भव्य और विश्व के सबसे बड़े स्टेडियम—नरेंद्र मोदी स्टेडियम में खेला गया। यह मैच जिस तरह के फाइनल मुकाबले की उम्मीद की जाती है, ठीक वैसा ही रहा—पूरा रोमांच, उतार-चढ़ाव और नाटकीय मोड़ से भरा हुआ।
RCB की ऐतिहासिक जीत
आख़िरकार, लंबे 18 सालों के इंतजार के बाद रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर (RCB) ने अपनी पहली आईपीएल ट्रॉफी जीत ली। इस जीत के साथ ही RCB ने अपने फैंस को जश्न मनाने का बहाना दे दिया, जो सालों से इस दिन का इंतजार कर रहे थे।
पंजाब किंग्स का टूटा दिल, फिर टली ट्रॉफी की उम्मीद
दूसरी ओर, पंजाब किंग्स के लिए यह हार दिल तोड़ने वाली रही। मात्र 6 रन से हारने के बाद उन्हें अपनी पहली ट्रॉफी के लिए और इंतजार करना होगा। फाइनल मुकाबले में उन्होंने संघर्ष जरूर किया, लेकिन जीत उनकी किस्मत में नहीं थी।
टॉस और रणनीति: पंजाब की चूक भारी पड़ी
पंजाब ने जीता टॉस, चुनी गेंदबाजी
पंजाब किंग्स ने टॉस जीतकर पहले गेंदबाजी करने का फैसला किया। उनका मानना था कि नरेंद्र मोदी स्टेडियम में लक्ष्य का पीछा करना आसान होता है। लेकिन यह फैसला फाइनल के दबाव में गलत साबित हुआ।
क्या पंजाब को पहले बल्लेबाज़ी करनी चाहिए थी?
मेरे अनुसार, पंजाब को पहले बल्लेबाज़ी करनी चाहिए थी। फाइनल मुकाबलों में स्कोर का पीछा करना मानसिक दबाव को बढ़ाता है। रनरेट जैसे ही बढ़ता है, खिलाड़ी घबराहट में गलतियां कर बैठते हैं। और यही पंजाब के साथ हुआ।
RCB की पारी: सामूहिक प्रयास से बना 190 का स्कोर
शुरुआत धीमी, लेकिन मिडिल ऑर्डर ने दिया सहारा
RCB की शुरुआत ज्यादा तेज़ नहीं रही। उनके इन-फॉर्म बल्लेबाज़ फिल सॉल्ट ने कुछ आकर्षक शॉट्स ज़रूर लगाए, लेकिन जल्दी आउट हो गए।
फिल सॉल्ट (16 रन, 9 गेंद)
2 चौके, 1 छक्का
आउट करने वाले गेंदबाज़: काइल जैमीसन
विराट कोहली (43 रन, 35 गेंद)
3 चौके
संतुलित पारी
आउट करने वाले गेंदबाज़: अजमतुल्लाह ओमरजई
मयंक अग्रवाल (24 रन, 18 गेंद)
2 चौके, 1 छक्का
आउट: युजवेंद्र चहल
कप्तान रजत पाटीदार (26 रन, 16 गेंद)
2 छक्के, 1 चौका
आउट: काइल जैमीसन
लियाम लिविंगस्टन (25 रन, 15 गेंद)
2 छक्के
आउट: काइल जैमीसन
जितेश शर्मा (24 रन, 10 गेंद)
2 चौके, 2 छक्के
विस्फोटक पारी
आउट: वैशाख विजय कुमार
रोमारियो शेफर्ड (17 रन, 9 गेंद)
आउट: अर्शदीप सिंह
RCB ने 20 ओवर में 9 विकेट खोकर 190 रन बनाए। यह स्कोर फाइनल के लिए प्रतिस्पर्धात्मक था।
पंजाब की पारी: संघर्ष, लेकिन अधूरा सपना
शुरुआत ठीक रही, लेकिन मिडल ऑर्डर बिखर गया
पंजाब किंग्स की शुरुआत संतुलित रही। कुछ शुरुआती बल्लेबाजों ने ठीक-ठाक पारी खेली लेकिन मिडल ऑर्डर के पतन ने उन्हें मुश्किल में डाल दिया।
प्रिंस आर्य (24 रन, 19 गेंद)
4 चौके
आउट: जोश हेजलवुड
पृथ्वीराज सिंह (26 रन, 22 गेंद)
2 छक्के
आउट: क्रुणाल पांड्या
जोश इंग्लिश (39 रन, 23 गेंद)
1 चौका, 4 छक्के
आउट: क्रुणाल पांड्या
कप्तान श्रेयस अय्यर का फ्लॉप शो
फाइनल मुकाबले में पंजाब की सबसे बड़ी उम्मीद—कप्तान श्रेयस अय्यर बुरी तरह फ्लॉप रहे। वे सिर्फ 1 रन बनाकर आउट हो गए।
आउट: रोमारियो शेफर्ड
यह हार का सबसे बड़ा कारण बना
नेहरू वढेरा (15 रन, 18 गेंद)
आउट: भुवनेश्वर कुमार
शशांक सिंह की नाबाद संघर्षपूर्ण पारी (61 रन, 30 गेंद)
6 छक्के, 3 चौके
लेकिन तब तक देर हो चुकी थी
शशांक की शानदार बल्लेबाज़ी भी पंजाब को जीत नहीं दिला सकी और अंत में टीम सिर्फ 6 रन से हार गई।
मैच का टर्निंग पॉइंट: RCB की गेंदबाज़ी में दम
RCB की रणनीति और संयम
RCB की गेंदबाज़ी अंत तक संतुलित रही। उन्होंने पंजाब के हर महत्वपूर्ण विकेट को सही समय पर गिराकर मैच को अपनी मुट्ठी में कर लिया।
क्रुणाल पांड्या और रोमारियो शेफर्ड ने बेहद अहम वक्त पर विकेट निकाले। वहीं भुवनेश्वर और हेजलवुड ने दबाव बनाए रखा।
गेल का अंदाज: दोनों टीमों से दिल का रिश्ता
गेल की पार्टी पक्की थी, जो भी जीते

मैच के दौरान एक दिलचस्प नज़ारा भी देखने को मिला—क्रिकेट के यूनिवर्स बॉस क्रिस गेल स्टेडियम में मौजूद थे। उन्होंने RCB की टी-शर्ट पहन रखी थी, लेकिन उनके गले में बंधी हुई पंजाबी पगड़ी थी।
गेल RCB और पंजाब दोनों टीमों से खेल चुके हैं और उनकी लोकप्रियता दोनों ही फ्रेंचाइज़ियों में ज़बरदस्त है। इसलिए, चाहे जो भी टीम जीतती, गेल की पार्टी पक्की थी।
मैच की मुख्य झलकियाँ
खिलाड़ी रन गेंदें चौके छक्के आउट करने वाले
विराट कोहली 43 35 3 0 अजमतुल्लाह
लिविंगस्टन 25 15 0 2 जैमीसन
शशांक सिंह 61* 30 3 6 नाबाद
जोश इंग्लिश 39 23 1 4 क्रुणाल
फैन्स की भावनाएं और क्रिकेट का खालीपन
आईपीएल 2025 अब समाप्त हो चुका है। फैंस को कुछ दिन तक एक खालीपन महसूस होगा—जैसे जिंदगी से कुछ छिन गया हो। लेकिन जैसे-जैसे समय बीतेगा, लोग फिर से अपनी दिनचर्या में लौट आएंगे और अगली आईपीएल के इंतजार में लग जाएंगे।
निष्कर्ष: 18 साल की मेहनत का फल
RCB की यह जीत सिर्फ एक ट्रॉफी नहीं, बल्कि वर्षों की मेहनत, असफलताओं और आलोचनाओं के बाद मिली एक बड़ी सफलता है। यह साबित करता है कि अगर संयम और विश्वास हो, तो देर से ही सही, जीत जरूर मिलती है।
अब जबकि RCB चैंपियन बन चुकी है, यह देखना दिलचस्प होगा कि अगले सीज़न में कौन उन्हें चुनौती देता है और क्या पंजाब किंग्स अगली बार अपनी पहली ट्रॉफी जीत पाएगी?