ऑपरेशन सिंदूर के बाद आज रात 8 बजे पीएम मोदी का राष्ट्र के नाम संबोधन होने जा रहा है। पूरे देश में उत्सुकता है कि क्या कोई बड़ा फैसला आएगा? जानिए पूरी कहानी, पाकिस्तान की प्रतिक्रिया और भारत की सैन्य रणनीति।

नई दिल्ली:
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज रात 8 बजे राष्ट्र को संबोधित करेंगे। यह संबोधन पाकिस्तान के साथ चार दिनों तक चले संघर्ष और उसके बाद घोषित युद्धविराम के बाद पहली बार होगा।
माना जा रहा है कि पीएम मोदी इस दौरान ‘ऑपरेशन सिंदूर’ की जानकारी, देश की सुरक्षा नीति और आगे की रणनीति पर चर्चा करेंगे।
क्या है ऑपरेशन सिंदूर?
ऑपरेशन सिंदूर की शुरुआत 7 मई को उस वीभत्स आतंकी हमले के जवाब में की गई थी, जो 22 अप्रैल को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुआ था।
इस आतंकी हमले में कुल 26 लोग मारे गए थे, जिनमें 24 भारतीय पर्यटक, नेपाल का एक नागरिक और एक स्थानीय टट्टू वाला शामिल था।
हमले के दौरान आतंकियों ने धार्मिक पहचान के आधार पर निशाना बनाया था।
हीरो बना Tatoo वाला
स्थानीय टट्टू चालक को इसलिए मार दिया गया क्योंकि उसने एक पर्यटक को बचाने की कोशिश की थी।
यह घटना न केवल इंसानियत को झकझोरने वाली थी, बल्कि देश की सुरक्षा व्यवस्था और पड़ोसी मुल्क पाकिस्तान की भूमिका पर गंभीर सवाल उठाने वाली भी थी।
किसने ली जिम्मेदारी?
इस हमले की जिम्मेदारी पाकिस्तान आधारित आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा के एक प्रॉक्सी संगठन ने ली थी।
जांच में पता चला कि हमलावरों में से तीन आतंकवादी पाकिस्तान के नागरिक थे और वे पांच लोगों के समूह में आए थे।
भारत की कड़ी प्रतिक्रिया: कूटनीतिक और सैन्य दोनों मोर्चों पर हमला
कूटनीतिक कार्यवाही:
भारत सरकार ने इस हमले के बाद तुरंत कई सख्त कूटनीतिक कदम उठाए:
सिंधु जल संधि को निलंबित किया गया।
पाकिस्तान के नागरिकों के वीजा रद्द कर दिए गए।
अटारी बॉर्डर को बंद कर दिया गया।
ऑपरेशन सिंदूर की सैन्य कार्यवाही:
7 मई को भारत ने पाकिस्तान और पाकिस्तान-अधिकृत कश्मीर (PoK) में नौ ठिकानों पर टारगेटेड स्ट्राइक की। इन हमलों में:
लश्कर और जैश-ए-मोहम्मद के मुख्यालय तबाह किए गए।
100 से अधिक आतंकवादी मारे गए।
मारे गए आतंकियों में 2019 के पुलवामा हमले और 1999 के आईसी-814 विमान अपहरण के दोषी भी शामिल थे।
मरने वाले प्रमुख आतंकी कौन थे?
ऑपरेशन सिंदूर में मारे गए प्रमुख आतंकियों में शामिल थे:
मुदस्सर खडीयां खास (लश्कर)
खालिद उर्फ अबू अकाशा (लश्कर)
मोहम्मद यूसुफ अजहर (जैश), जो मसूद अजहर का साला था और 1999 के अपहरण कांड में वांछित था।
हाफिज मोहम्मद जलील (जैश)
मोहम्मद हसन खान (जैश)
यूसुफ अजहर वही व्यक्ति था जिसने आईसी-814 विमान को अफगानिस्तान के कंधार में ले जाकर बंधक बनवाया था, जिससे मसूद अजहर की रिहाई हुई थी।
पाकिस्तान की जवाबी कार्रवाई: ड्रोन और मिसाइल हमले
भारत की सैन्य कार्यवाही के जवाब में पाकिस्तान ने:
जम्मू-कश्मीर, राजस्थान और पंजाब के सीमावर्ती इलाकों में ड्रोन और मिसाइल हमले किए।
एलओसी और अंतरराष्ट्रीय सीमा पर गोलीबारी फिर से शुरू कर दी, जो पहले हुए संघर्षविराम समझौते का उल्लंघन था।
भारत का जवाब: सटीक और निर्णायक हमला

भारत ने पाकिस्तान की जवाबी कार्रवाई पर कड़ी प्रतिक्रिया दी और कई रणनीतिक सैन्य ठिकानों पर हमला किया:
वायुसेना ने रडार स्टेशन को निशाना बनाया: लाहौर और गुजरांवाला के पास के ठिकानों को निशाना बनाया गया।
प्रमुख सैन्य ठिकानों पर हमले किए गए, जिनमें शामिल थे:
रफीकी
मुरिद
चकलाला
रहीम यार खान
सगोधा
भोलारी
ये हमले पाकिस्तान के भीतर गहराई तक किए गए और खासतौर पर कमांड सेंटर, रडार स्टेशन, हथियार डिपो आदि को निशाना बनाया गया।
मोदी सरकार की रणनीति: फ्री हैंड और तेज कार्रवाई
प्रधानमंत्री मोदी ने सेना को “पूर्ण स्वतंत्रता” दी थी कि वह समय, स्थान और रणनीति स्वयं तय करे। सेना ने इसका लाभ उठाते हुए ऑपरेशन सिंदूर को निर्णायक और टारगेटेड बनाया।
अंतरराष्ट्रीय हस्तक्षेप: ट्रंप की भूमिका
शनिवार को अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने दावा किया कि भारत और पाकिस्तान युद्धविराम पर सहमत हो गए हैं। इसके कुछ ही मिनटों बाद भारत के विदेश सचिव विक्रम मिस्री ने इस बात की पुष्टि की।
सरकार की सफाई: भारत की अपनी पहल
भारत सरकार ने ट्रंप के बयान पर सीधी प्रतिक्रिया नहीं दी, लेकिन कहा कि यह युद्धविराम पाकिस्तान की ओर से एक शीर्ष सैन्य अधिकारी द्वारा डीजीएमओ स्तर की बातचीत के बाद प्रस्तावित किया गया और भारत ने इसे स्वीकार किया।
आगे क्या? भारत की चेतावनी
भारत ने यह स्पष्ट कर दिया है कि:
“पाकिस्तान की ओर से होने वाली अगली किसी भी आतंकी घटना को सीधे युद्ध की कार्रवाई माना जाएगा और भारत उसी स्तर पर जवाब देगा।”
यह बयान भारत की बदली हुई रणनीति को दर्शाता है – अब ‘सब्र’ नहीं बल्कि ‘सीधा जवाब’।
देश की नजरें पीएम मोदी के संबोधन पर
ऐसे में जब पूरा देश ऑपरेशन सिंदूर की सफलता और भविष्य की रणनीति को लेकर उत्सुक है,
प्रधानमंत्री मोदी का आज रात 8 बजे का राष्ट्र के नाम संबोधन बेहद अहम माना जा रहा है।
माना जा रहा है कि वे देशवासियों को न केवल बीते घटनाक्रम से अवगत कराएंगे, बल्कि यह भी स्पष्ट करेंगे कि भारत अब कैसे आतंकवाद और उसकी पोषक ताकतों से निपटेगा।
ऐसे में जब पूरा देश ऑपरेशन सिंदूर की सफलता और भविष्य की रणनीति को लेकर उत्सुक है, प्रधानमंत्री मोदी का आज रात 8 बजे का राष्ट्र के नाम संबोधन बेहद अहम माना जा रहा है।
आज मोदी जी क्या कहेंगे, इसको लेकर देश के लोगों में जबरदस्त उत्सुकता है और पाकिस्तान के लोगों में डर का माहौल है।
लोगों को इस बात का इंतज़ार है कि अब मोदी जी क्या बोलेंगे,
क्योंकि उन्होंने जब भी रात 8 बजे राष्ट्र को संबोधित किया है, कोई बड़ा और ऐतिहासिक फैसला लेकर ही आए हैं।
रात 8 बजे से लोगों को 2016 की नोटबंदी की रात याद आ रही है, जब मोदी जी अचानक टीवी पर आए थे
और देश को बताया था कि तत्काल प्रभाव से 500 और 1000 रुपये के नोट बंद किए जा रहे हैं।
वह भी एक ऐसा फैसला था जिसने देशभर में तहलका मचा दिया था।
इसलिए आज रात 8 बजे मोदी जी का आना कई मायनों में बड़ा संकेत माना जा रहा है।
